पाकिस्तान की कायराना हरकत का भारत ने एक बार फिर मुंहतोड़ जवाब दिया

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जिन पाकिस्तानी सैनिकों के मौत की खबरें आईएसपीआर की ओर से दी गई हैं उनके नाम हैं सिपाही सज्जाद, सिपाही अब्दुल रहमान और सिपाही एम उस्मान हैं। घायल सैनिक की पहचान अत्हाज हुसैन के तौर पर हुई है। आईएसपीआर की ओर से लिखा है, ‘एलओसी पर स्थित रावलकोट सेक्टर के तहत आने वाले राखछिकरी में भारतीय सेना की ओर से फायरिंग की गई जिसमें हमारे तीन सैनिकों को शहादत मिली है तो एक सैनिक घायल हो गया है।’ पाक के इन आरोपों का जवाब देते हुए भारतीय सेना ने कहा है कि तीनों पाक सैनिक उस समय मारे गए हैं जब भारत की ओर से दूसरी तरफ होने वाली फायरिंग का जवाब दिया जा रहा था। आपको बता दें कि शनिवार को दोपहर में पाकिस्तान की ओर से अचानक से इंडियन पोस्ट पर फायरिंग शुरू हो गई थी। राजौरी में स्थित एलओसी से सटे केरी सेक्टर में हुई इस घटना में मेजर प्रफुल्ल अंबादास, लांस नायक गुरमेल सिंह, नायक कुलदीप सिंह और सिपाही परगट सिंह शहीद हो गए थे। इस वर्ष 25 दिसंबर तक पाकिस्तान की ओर से 881 बार युद्धविराम का उल्लंघन किया जा चुका है।
1- 23 दिसंबर 2017 को जम्मू-कश्मीर के राजोरी के केरी इलाके से सटे नियंत्रण रेखा (LoC) पर पाकिस्तानी सेना ने फिर सीजफायर तोड़ा और गोलीबारी की. पाकिस्तान की ओर से की गई इस नापाक गोलीबारी में भारतीय सेना के एक मेजर समेत तीन जवान शहीद हो गए थे. इसके अलावा एक घायल सैन्यकर्मी को अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उन्होंने दम तोड़ दिया.

2- शहीद होने वाले सभी सैन्यकर्मी 120 इन्फैंट्री ब्रिगेड बटालियन से आते थे. शहीद हुए सैन्यकर्मियों की पहचान मेजर मोहरकर प्रफुल्ला अम्बादास, लांस नायक गुरमैल सिंह और सिपाही परगट सिंह के रूप में हुई.

2- पाकिस्तान की इस कायराना हरकत का भारतीय सेना ने 48 घंटों के भीतर मुंहतोड़ जवाब दिया. 25 दिसंबर 2017 को भारत ने अपने चार सैनिकों की शहादत का पाकिस्तान से बदला लिया. सोमवार रात भारत ने पुंछ के पास रावलाकोट सेक्टर में जवाबी फायरिंग में तीन पाकिस्तानी सैनिकों को मार गिराया.

3- इस ऑपरेशन में भारतीय सेना ने एलओसी को पार किया, बॉर्डर के उस पार गए और तीन पाकिस्तान सेना के जवानों को मौत के घाट उतार दिया. पाकिस्तानी मीडिया के मुताबिक फायरिंग में एक पाकिस्तानी सैनिक घायल भी हुआ है.

4- सेना ने एलओसी पार जाकर आईडी प्लांट किए, इस दौरान तीन पाकिस्तानी सैनिकों के साथ क्रॉस फायरिंग भी हुई.

5- इससे 15 महीने पहले भी भारत ने पाकिस्तान की नापाक हरकतों का मुंहतोड़ जवाब दिया था. भारत ने 28- 29 सितंबर 2016 की रात को नियंत्रण रेखा के पार जाकर सात आतंकी शिविरों पर सर्जिकल स्ट्राइक की थी.

6- सर्जिकल स्ट्राइक से कुछ दिनों पहले उरी हमले में 19 जवान शहीद हो गए थे. इसके बाद ही भारत ने कायरों की तरह हमला करने वाले आतंकियों को सबक सिखाने का मन बना लिया था. भारत के जांबाज सैनिकों ने एलओसी के पार जाकर आतंकियों के ठिकानों को तहस-नहस कर दिया.

7- उस समय रात के बारह बजे पुंछ से एडवांस्ड लाइट हेलिकॉप्टर ध्रुव पर 4 और 9 पैरा के 25 कमांडो सवार होकर पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में दाखिल हुए थे. नियंत्रण रेखा के पार हेलिकॉप्टर ने इन जवानों को एक सुनसान जगह उतार दिया. पाकिस्तानी सेना की फायरिंग की आशंका के बीच इन कमांडोज ने तकरीबन तीन किलोमीटर का फासला रेंग कर तय किया. देश में तबाही मचाने के लिये यहां आतंकियों के लॉन्च पैड्स भिंबर, केल, तत्तापानी और लीपा इलाकों में स्थित थे.

8- पाकिस्तानी सेना को भारत के इस कदम का कोई आभास नहीं हुआ. हमले से पहले आतंकियों के लॉन्चिंग पैड्स पर खुफिया एजेंसियां एक हफ्ते से नजर रखे हुए थीं. रॉ और मिलिट्री इंटेलिजेंस पूरी मुस्तैदी से आतंकवादियों की एक-एक हरकत पर नजर रखे हुए थी. सेना ने हमला करने के लिए कुल छह कैंपों का लक्ष्य रखा था. हमले के दौरान इनमें से तीन कैंपों को पूरी तरह तबाह कर दिया. कमांडोज तवोर और एम-4 जैसी राइफलों, ग्रेनेड्स, स्मोक ग्रेनेड्स से लैस थे. साथ ही उनके पास अंडर बैरल ग्रेनेड लॉंचर, रात में देखने के लिए नाइट विजन डिवाइसेज और हेलमेट माउंटेड कैमरा भी थे.

9- पलक झपकते ही कमांडोज ने आतंकियों पर ग्रेनेड से हमला किया. अफरा-तफरी फैलते ही स्मोक ग्रेनेड के साथ ताबड़तोड़ फायरिंग की और देखते ही देखते 38 आतंकवादियों को ढेर कर दिया गया. हमले में पाकिस्तानी सेना के दो जवान भी मारे गए थे.

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