मनरेगा भुगतान में हुए घपले की जांच करने गांव पहुंचे खंड विकास अधिकारी
इसको लेकर भाग्योदय संदेश ने रोजगार सेवक पर मनरेगा में लाखों रुपए का गोलमाल करने का आरोप शीर्षक से श्रमिकों की समस्या को प्रकाशित किया। इसपर अधिकारी हरकत में आए और जांच शुरू कर दी। गुरुवार को बीडीओ समेत कई अधिकारियों ने गांव में पहुंचकर ग्रामीणों के बयान दर्ज किए। गोलमाल की जांच होने से रोजगार सेवक के चेहरे पर उदासी देखी जा रहा है।
मामला पूरनपुर विकासखंड की ग्रान पंचायत शहबाजपुर का है। घाटमपुर के रहने वाले दर्जनों लोगों ने मुख्यमंत्री को शिकायती पत्र भेजकर रोजगार सेवक पर मनरेगा में लाखों रुपए का घोटाला करने का आरोप लगाया। उनका कहना है कि अप्रैल से जून तक जिन मजदूरों ने काम किया था उनको मजदूरी का भुगतान अभी तक नहीं किया गया। आरोप है कि रोजगार सेवक ने अपने परिवार और अन्य चहेते लोगों के जॉबकार्ड बना रखे हैं। ये मनरेगा में काम भी नहीं करने जाते हैं। आरोप है कि रोजगार सेवक उनके नाम मास्टर रोल पर फर्जी दिहाड़ी लगाकर खाते में रुपए भेज देता है। आरोप है कि बकाया मनरेगा मजदूरी का भुगतान कराने की बात कहने पर रोजगार सेवक श्रमिकों से अभद्रता कर भगा देता है। पत्र में बास्तविक श्रमिकों को मजदूरी के रुपए दिलाने, मनरेगा में हुए लाखों रुपए के गोलमाल की जांच कराने और रोजगार सेवक पर कार्रवाई की मांग की गई। श्रमिकों की इस समस्या को भाग्योदय संदेश अखबार ने प्रमुखता से प्रकाशित किया। इस पर अधिकारी हरकत में आए। गुरुवार को खंड विकास अधिकारी सुनील कुमार जायसवाल, एपीओ मनरेगा आदि ने गांव पहुंचकर शिकायत कर्ताओ और अन्य लोगों के रोजगार सेवक के सामने ही बयान दर्ज किए। उनसे जानकारी जुटाई। लोगों ने स्पष्ट तरीके से अधिकारियों के समक्ष अपनी बात रखी। बताते हैं कि अधिकारियों ने श्रमिकों को समस्या का निदान करने का भरोसा दिया है। इस दौरान ग्राम प्रधान लाहौरी सिंह, रोजगार सेवक बच्चूलाल, लक्ष्मण वर्मा, परमजीत सिंह, रमेश कुमार, जाकिर शाह, कालीचरन, विनोद कुमार, मोहम्मद फिरोज, कमलेश, जैकी वर्मा, ताजुद्दीन, रवि कुमार, सेवक सिंह सहित बड़ी संख्या में लोग मौजूद रहे।
लखनऊ से राघवेंद्र सिंह की रिपोर्ट !