बिहार: यूको बैंक के 35 लॉकर से 10 करोड़ का सामान गायब, पुलिस को बैंक मैनेजमेंट पर शक

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बिहार के पूर्णिया में मधुबनी शहर में महिला कॉलेज कैंपस के यूको बैंक के 72 में 35 लॉकर को काटकर सारा सामान गायब कर दिया गया। इनकी कीमत करीब 10 करोड़ रुपए बताई जा रही है। बैंक अधिकारी और कर्मचारी इसे चोरी की घटना बता रहे हैं। हालांकि, उनके अलग-अलग बयानों ने घटना पर संदेह पैदा कर दिया है। मामले की SIT जांच शुरू हो गई है।

1:30 बजे पता चला, 3 बजे पुलिस को मिली सूचना

शनिवार को बैंक की छुट्टी थी, लिहाजा स्टाफ नहीं आया था। रविवार को भागलपुर से आई ऑडिट टीम के साथ दोपहर 1:30 बजे मैनेजर सुमित कुमार बैंक पहुंचे तो वहां खिड़की टूटी हुई थी। सामान बिखरा पड़ा था। 72 में से 35 लॉकर गैस कटर से काटे गए थे। पास ही दो गैस कटर भी मिले हैं। पुलिस का कहना है कि उन्हें घटना की सूचना बैंक की बजाय एक मीडियाकर्मी से मिली

बयान अलग-अलग इसलिए शक

थाना प्रभारी के मुताबिक, उन्हें घटना की जानकारी एक मीडियाकर्मी से दोपहर करीब 3 बजे मिली।  सवाल यह उठ रहा है कि जब बैंक मैनेजर सुमित को 1:30 बजे घटना का पता चला तो उन्होंने उसी वक्त पुलिस को सूचना क्यों नहीं दी। असिस्टेंट ब्रांच मैनेजर पूजा वर्मा ने बताया कि ब्रांच मैनेजर के कहने पर उन्होंने इसकी सूचना पुलिस को दी। हिदायत के बाद भी गार्ड तैनात नहीं किए थे ।

स्थानीय थाने से बैंक मैनेजर को यहां रात में गार्ड तैनात करने की दो बार हिदायत दी गई थी, लेकिन उन्होंने इस पर ध्यान नहीं दिया। यहां सिर्फ कैम्पस में तीन गार्ड तैनात थे। उन पर बैंक की सुरक्षा की जिम्मेदारी नहीं थी।

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सायरन भी नहीं बजा

पुलिस को यह भी शक है कि चोर खिड़की से अंदर दाखिल हुए। अनुमान है कि वे अंदर करीब 5 घंटे रहे। तो फिर सायरन क्यों नहीं बजा। बजता तो कैम्पस में मौजूद गार्ड या आसपास के लोगों को तो सुनाई देता। चोर अपने साथ सीसीटीवी का हार्ड डिस्क भी खोलकर ले गए।

बैंक को नहीं देना पड़ता हर्जाना

सालाना किराया के आधार पर बैंक ग्राहक को लॉकर उपलब्ध कराते हैं। एक चाबी बैंक के पास होती है और दूसरी चाबी ग्राहक के पास। लॉकर ऑपरेट करने के दौरान दोनों चाबियां लगाई जाती हैं और फिर बैंक का कोई भी अधिकारी वहां मौजूद नहीं रहता।

बैंक अपने ग्राहक से यह नहीं पूछता की वह लॉकर का इस्तेमाल क्या रखने के लिए करेगा। ग्राहक जो चाहे उसमें रख सकता है। सामान गुम होने पर हर्जाना देने के लिए बैंक बाध्य नहीं होते।

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दो साल में बैंक लॉकर्स में चोरी की 1934 घटनाएं

नेशनल क्राइम रिकॉर्ड्स ब्यूरो (एनसीआरबी) की रिपोर्ट के अनुसार लॉकर लुटेरों ने 2015-16 और 2016-17 में लॉकर चोरी के 1934 घटनाओं को अंजाम दिया। यह वारदात देश की सभी छोटी-बड़ी 51 बैंकों में की गई। 51 बैंकों के लॉकर्स से चोर-लुटेरे 127 करोड़ और 90 लाख रुपए के सामान की चोरी कर चुके हैं। रिपोर्ट के मुताबिक 2015-16 में 922 वारदात के दौरान चोर 62 करोड़, 60 लाख रुपए का सामान ले उड़े।

राजेश कुमार के साथ सोनू मिश्रा की रिपोर्ट ,पटना ( बिहार )

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